क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
मेरी ये जीवन गाड़ी
मेरी ये जीवन गाड़ी श्याम चलाता है,,
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
जब जब मुझको पड़ती है दरकार
श्याम हमेशा रहता है तैयार
जब जब मुझको पड़ती है दरकार
श्याम हमेशा रहता है तैयार
श्याम ने मुझपर किया बहुत उपकार
श्याम ही मेरे जीवन का आधार
श्याम ने मुझपर किया बहुत उपकार
श्याम ही मेरे जीवन का आधार
हरदम ये मुझपर अपना
हरदम ये मुझपर अपना प्यार लूटाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
दुख के बादल जब जब मंडराते
श्याम नाम लेते ही छँट जाते
दुख के बादल जब जब मंडराते
श्याम नाम लेते ही छँट जाते
बाल भी बांका वो ना कर पाते
कभी दोबारा नज़र नही आते
बाल भी बांका वो ना कर पाते
कभी दोबारा नज़र नही आते
संकट आने से पहले
संकट आने से पहले श्याम आता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
मेरे मन में आता जो भी ख्याल
श्याम व्यवस्था करता है तत्काल
मेरे मन में आता जो भी ख्याल
श्याम व्यवस्था करता है तत्काल
हरपल मुझको ये ही रहा संभाल
श्याम कृपा से मैं हूँ मालामाल
हरपल मुझको ये ही रहा संभाल
श्याम कृपा से मैं हूँ मालामाल
जिसके लायक ही नही मैं
जिसके लायक ही नही मैं वो मिल जाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
श्याम भरोसे मै निश्चिंत हूँ
क्योंकि मैं तो श्याम पे आश्रित हूँ
श्याम भरोसे मै निश्चिंत हूँ
क्योंकि मैं तो श्याम पे आश्रित हूँ
श्याम चरण मे पूर्ण समर्पित हूँ
एसीलिए मैं सदा सुरक्षित हूँ
श्याम चरण मे पूर्ण समर्पित हूँ
एसीलिए मैं सदा सुरक्षित हूँ
जी भर के बिन्नु को ये
जी भर के बिन्नु को ये लाड लड़ाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
मेरी ये जीवन गाड़ी
मेरी ये जीवन गाड़ी श्याम चलाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
क्यूँ घबराऊँ मैं मेरा तो श्याम से नाता है
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Meri Ye Jeevan Gaadi,,
Shyam Chalata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Jab Jab Mujhko,,
Padti Hai Darkaar ।
Shyam Hamesha,,
Rahta Hai Taiyaar ।।
Shyam Ne Mujhar,,
Kiya Bahut Upkaar ।
Shyam Hi Mere,,
Jeevan Ka Aadhar ।।
Hardam Ye Mujhpar,,
Apna Pyar Lutata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Dukh Ke Baadal,,
Jab Jab Mandraate ।
Shyam Naam,,
Lete Hi Chhat Jate ।।
Baal Bhibanka,,
Jab Jab Mandraate ।
Shyam Naam Lete Hi,,
Chanth Jaate ।।
Baal Bhi Banka,,
Wo Naa Kar Paate ।
Kabhi Dobara,,
Nazar Nahi Aate ।।
Sankat Aane Se Pahle,,
Shyam Aata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To ,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Mere Man Me Aata,,
Jo Bhi Khayal ।
Shyam Vyavstha,,
Karta Hai Tatkaal ।।
Harpal Mujhko,,
Yehi Raha Sambhaal ।
Shyam Kripa Se,,
Main Hu Malamaal ।।
Jiske Laayak Hi Nahi Mai,,
Wo Mil Jata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Shyam Bharose,,
Main Nishchint Hun ।
Kyonki Main To,,
Shyam Pe Aashrit Hun ।।
Shyam Charan Me,,
Puran Samarpit Hun ।
Isliye Main,,
Sada Surakshit Hun ।।
Jee Bhar Ke Binnu Ko Ye,,
Laad Ladata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
Meri Ye Jeevan Gaadi,,
Shyam Chalata Hai ।
Kyu Ghabrau Main Mera To,,
Shyam Se Nata Hai ।।
और मनमोहक भजन :-
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M:- मैं कैसे करूँ इजहार सांवरे -२, तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
मैं कैसे करूँ इजहार सांवरे -२, तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
तेरा ही था तेरा हूँ मैं तेरा ही मैं रहूँगा -२
तेरा ही खाया है मैंने हक से यही कहूंगा -२
तेरी कृपा बिना ना मेरा पार सांवरे -२ ,तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
जिसको तूने थमा कन्हैया उसको कौन गिराए -२
कितनी फसी हो बीच भवर में नैया पार हो जाए -२
थमा हमको भी तूने हर बार सांवरे -२, तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
मोरछड़ी हाथो में ले कर तू दौड़ा ही आता -२
भक्तो पर जितना भी संकट पल में दूर हो जाता -२
भानु तुझसे करे बहुत प्यार सांवरे -२, तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
मैं कैसे करूँ इजहार सांवरे -२, तेरा बड़ा उपकार सांवरे
है तेरा बड़ा उपकार सांवरे
M:- में खाटू में जाऊंगा -२, लेकर के एक निशान
सब विपदा संकट कटते जब शिखर चढ़े निशान
मेरा श्याम खुश हो जाता जब शिखर चढ़े निशान
में खाटू में जाऊंगा
तूने इतना दिया मेरे दाता कमी नहीं छोड़ी
सागर से भर दी गागर उम्मीद नहीं तोड़ी -२
निर्बल को दे के सहारा -२, काम किया अजब महान
में खाटू में जाऊंगा
तेरे दर पर आ कर जो भी दुखड़ा सुनाता है -२
सब चिंता और विपदा को वो भूल जाता है -२
मोहन ने ली जो परीक्षा -२, दे दिया था शीश दान
में खाटू में जाऊंगा
तूने धन्ना जाट के खेत में हल चलाया था -२
कर्मा के लगाय भोग खिचड़ी खाया था -२
आज संजय तुझे जिमावे -२, तू रखियो उसका मान
में खाटू में जाऊंगा
M:- द्वापर में कृष्ण कन्हैया ने क्या अद्भुत खेल रचाया था
ले बर्बरीक से शीश दान कलजुग का देव बनाया था
द्वापर में कृष्ण कन्हैया ने क्या अद्भुत खेल रचाया था
ले बर्बरीक से शीश दान कलजुग का देव बनाया था
तीन बाण काँधे पे साजे -२ मेरे श्याम सजीले के
मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
कोरस:- मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
M:- खाटू में दरबार लगा कर बैठा बाबा श्याम
कोरस :- बैठा बाबा श्याम बैठा बाबा श्याम
M:- लाखो करोडो भक्तो की मेरा श्याम घनी पहचान है
कोरस :- मेरा श्याम घनी पहचान है मेरा श्याम घनी पहचान है
M:- खाटू में दरबार लगा कर बैठा बाबा श्याम
लाखो करोडो भक्तो की मेरा श्याम घनी पहचान है
कोरस :- मेरा श्याम घनी पहचान है मेरा श्याम घनी पहचान है
M:- हर कोई करता प्रेम बहुत -२, मेरे सोने श्याम हठीले से
मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
कोरस:- मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
M:- भक्तो की सच्ची अर्जी पे ये बिगड़े काम बना देता
कोरस :- बिगड़े काम बना देता ये बिगड़े काम बना देता
M:- हर आये सच्चे प्रेमी को जीवन की हर खुशियां देता
कोरस :- जीवन की हर खुशियां देता जीवन की हर खुशियां देता
M:- भक्तो की सच्ची अर्जी पे ये बिगड़े काम बना देता
हर आये सच्चे प्रेमी को जीवन की हर खुशियां देता
कोरस :- जीवन की हर खुशियां देता जीवन की हर खुशियां देता
M:- एक बार जो करे भरोसा -२, मेरे श्याम छबीले पे
मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
कोरस:- मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
M:- कार्तिक में होती धूम यहाँ फागुन में मेला भरता है
कोरस :- फागुन में मेला भरता है फागुन में मेला भरता है
M:- रोमी इस श्याम सलोने के हर ग्यारस दर्शन करता है
कोरस :- हर ग्यारस दर्शन करता है हर ग्यारस दर्शन करता है
M:- कार्तिक में होती धूम यहाँ फागुन में मेला भरता है
रोमी इस श्याम सलोने के हर ग्यारस दर्शन करता है
कोरस :- हर ग्यारस दर्शन करता है हर ग्यारस दर्शन करता है
M:- हर कोई नाचे झूम झूम -२, मेरे श्याम के भजन रसीले पे
मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
कोरस:- मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
M:- तीन बाण काँधे पे साजे -२ मेरे श्याम सजीले के
मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
कोरस:- मेनू खाटूवाला जचदा है जचदा है घोड़े जचदा है घोड़े लीले पे
M:- क्यों है जग में श्याम की ऊंची शान बताता हूँ पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान दिखाता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
रोती हुयी एक बिटिया की मुस्कान दिखाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
क्या होती है भक्ति की पहचान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- इक निर्धन परिवार की भगतो बात पुरानी है
सौ घर में दो घर की आज भी यही कहानी है
कोरस:- आज भी यही कहानी है
M:- ममता नाम की एक बिटिया के गुजर गए माँ बाप
कोई नहीं था ममता का जग में कैसा था संताप
कोरस:- कैसा था संताप
M:- चाचा के घर मिला सहारा करती घर का काम
दीवानी थी खाटू श्याम की मन में बसते श्याम
कोरस:- मन में बसते श्याम
M:- श्याम की निसदिन पूजा करने जाती थी मंदिर
ध्यान लगा के सुनो कथा क्या होता है आखिर
कोरस:- क्या होता है आखिर
M:- उसके आगे क्या होता है वो समझाता हूँ पावन कथा सुनाता हूँ
भक्तो कथा सुनाता कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान दिखाता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- बिन माँ बाप के उस बिटिया की देखो लाचारी
सारे घर का काम थी करती ममता बेचारी
कोरस :- करती ममता बेचारी
M:- फ़टे पुराने कपडे मिलते उसे पहने को
छोटी सी एक मिली झोपड़ी उसके रहने को
कोरस :- झोपड़ी उसके रहने को
M:- बचा खुचा खाने को देती थी उसकी चाची
खा लेती चुपचाप थी ममता ताजा क्या बासी
कोरस :- ताजा क्या बासी
M:- झाडू मारे कपडे धोये माजे वो बर्तन
ममता को ना पता चला कब छूट गया बचपन
कोरस :- कब छूट गया बचपन
M:- ममता की किस्मत में क्या था लिखा बताता हूँ पावन कथा सुनाता हूँ
भक्तो कथा सुनाता कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान दिखाता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- शादी योगय हो गई ममता खिल गया था यौवन
जब देखे सूरत ममता की मुस्काये दर्पण
कोरस :- मुस्काये दर्पण
M:- ममता की शादी के चर्चे होने लगे घर में
सारी बात बताती श्याम से जा के मंदिर में
कोरस :- श्याम से जा के मंदिर में
M:- माता पिता को करके वो याद रोने लगती थी
रो रो के आंसुओं से चेहरा धोने लगती थी
कोरस :- चेहरा धोने लगती थी
M;- माता पिता का हाथ साथ ना किस पे करे अभिमान
माता पिता जो ज़िंदा होते करते कन्यादान
कोरस :- उसका करते कन्यादान
M:- क्या कहते है चाचा चाची सुनो सुनाता हूँ पावन कथा सुनाता हूँ
भक्तो कथा सुनाता कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- ढूंढ रहे है ऐसा रिश्ता ज़रा ना हो खर्चा
इसी लिए रिश्तेदारों में करते है चर्चा
कोरस :- करते है चर्चा
M:- पढ़ा लिखा हो या अनपढ़ हो निर्धन हो चाहे
बिना दहेज़ लिए कोई भी ममता को ब्याहे
कोरस :- कोई भी ममता को ब्याहे
M:- चाचा और चाची के मुँह से सुन ऐसी बाते
माता पिता की सोच के उसकी भर जाती आंखे
कोरस :- उसकी भर जाती आंखे
M:- चाचा से चाची जब कहती इसे निकालो तुम
पडी हई है बला गले में इसको टालो तुम
कोरस :- इसको टालो तुम
M:- ममता का भर गया कलेजा मै दिखलाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- शादी तय कर के ममता की रख दी गई तारीख
दिखलाया ना लड़का उसको रही आत्मा चीख
कोरस :- उसको रही आत्मा चीख
M:- कौन है लड़का पता नहीं पता नहीं ससुराल
जाने कैसे सास ससुर हो क्या होगा मेरा हाल
कोरस :- क्या होगा मेरा हाल
M:- यही सोचती ममता मन में जाने क्या होगा
अच्छा होगा मेरे साथ या हाल बुरा होगा
कोरस :- या हाल बुरा होगा
M:- छोड़ दिया सब श्याम के ऊपर तुम ही जानो श्याम
तुम ही से मेरा दिन उगता है तुम ही से है मेरी शाम
कोरस :- तुम ही से है मेरी शाम
M:- न नेह निमंत्रण कार्ड छप गए वो दिखलाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- ना कोई जेवर ना कोई गहना ना लहंगा साडी
कैसा है ये ब्याह सोच रही ममता बेचारी
कोरस :- सोच रही ममता बेचारी
M:- आज अगर माँ बाप जो होते बात अलग होती
धूमधाम से शादी की सौगात अलग होती
कोरस :- सौगात अलग होती
M:- शादी का इक कार्ड उठा के चली श्याम दरबार
चेहरा था ग़मगीन मचा था मन में हाहाकार
कोरस :- मचा था मन में हाहाकार
M:- पहुंच गई मंदिर के अंदर वो बिटिया भोली
कार्ड पुजारी को पकड़ा के हाथ जोड़ बोली
कोरस :- हाथ जोड़ बोली
M:- क्या बोली वो ममता बिटिया वो सुनवाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- आँखों में आंसू भर आये बिटिया रानी के
देख रहा मंदिर का पुजारी वो हैरानी से
कोरस :- पुजारी वो हैरानी से
M:- भरी आवाज में बिटिया बोली सुनो श्याम दातार
तुम ही मेरे मात पिता हो तुम ही मेरा परिवार
कोरस :- तुम ही मेरा परिवार
M:- नेह निमंत्रण दे रही हूँ तुमको ब्याह में आना है
कर के कन्यादान मुझे डोली में बिठाना है
कोरस :- मुझे डोली में बिठाना है
M:- अगर मेरी शादी में बाबा तुम नहीं आओगे
दे दूंगी मै जान कसम से तुम पछताओगे
कोरस :- कसम से तुम पछताओगे
M:- क्या बोला बिटिया से पुजारी वो बतलाता हूँ पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- रख के कार्ड श्याम चरणों में बोला हंस कर के
निश्चिंत हो कर बिटिया रानी जा अपने घर पे
कोरस :- बिटिया रानी जा अपने घर पे
M:- श्री श्याम के ऊपर तेरा इतना है विश्वास
मान यकीन ना होंगे देंगे बेटी तुझे निरास
कोरस :- बेटी तुझे निरास
M:- श्री श्याम का काम यही दे रोते को मुस्कान
किसी ना किसी में रूप में आ के करेंगे कन्यादान
कोरस :- आ के करेंगे कन्यादान
M:- बेटी तेरी शादी में श्री श्याम जी आएंगे
आ कर के श्री श्याम पिता का फर्ज निभाएंगे
कोरस :- पिता का फर्ज निभाएंगे
M:- कितनी हुयी है बिटिया को वो ख़ुशी दिखाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- शादी वाले रोज हो गई अजब अनोखी बात
आ पहुंची जब द्वार पे बिटिया रानी की बारात
कोरस :- बिटिया रानी की बारात
M:- बिचकता उसका चाचा स्वागत को निकला
निचे तेल गिरा सरसो का पांव तुरत फिसला
कोरस :- उसका पांव तुरत फिसला
M:- औंधे मुँह धरती पर गिरा वो टूट गई थी टांग
जोर जोर से चिल्लाये ज्यों मुर्गा देता बांग
कोरस :- ज्यों मुर्गा देता बांग
M:- पति की टूटी टांग देख के चाची उगले आग
गुस्से में फुंफकारे चाचा जैसे काला नाग
कोरस :- जैसे काला नाग
M:- अब आगे क्या होता है तुमको समझाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- चली कराने पति का अपने वो चाची उपचार
भूली मंडप बाराती को भूली शिष्टाचार
कोरस :- भूली शिष्टाचार
M:- सौ सौ गाली दे ममता को डाले उस पे दोष
सुन रही थी चुपचाप लली सब बैठी थी खामोश
कोरस :- सब बैठी थी खामोश
M:- मंडप में बैठा था दूल्हा बैठे थे मेहमान
पंडित जी बोले बिटिया का कौन करेगा कन्यादान
कोरस :- कौन करेगा कन्यादान
M:- मन ही मन में बिटिया बोली दया करो श्री श्याम
सच्चे मन से भक्ति की है मैने सुबह हो शाम
कोरस :- भक्ति की है सुबह हो शाम
M:- होता है फिर वहां पे जो चमत्कार दिखाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- ज्योति पुंज एक उड़ते उड़ते वहां पे आती है
ज्योति पुंज से एक धुंधली छाया बन जाती है
कोरस :- छाया बन जाती है
M:- श्री कृष्ण के रूप में फिर परिवर्तित होती है
होठो पे मुस्कान वही फिर चिर परिचत होती है
कोरस :- चिर परिचत होती है
M:- भक्त की खातिर बन जाते है भगवन से इंसान
बगल में झोला लटका जिसमे भरा स्वर्ण सामान
कोरस :- जिसमे भरा स्वर्ण सामान
M:- कुर्ता धोती सर पे पगड़ी लिए पेटिका हाथ
आ के पहुंच गए मंडप पे रुकी जहाँ बारात
कोरस :- मंडप पे रुकी जहाँ बारात
M:- बोले क्या वो पंडित जी से वो बतलाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- पंडित जी मै इस बिटिया का मामा लगता हूँ
बचपन से ही बड़ी दूर परदेश में रहता हूँ
कोरस :- दूर परदेश में रहता हूँ
M:- चौक के देखा जब ममता ने खड़े कृष्ण भगवान
ममता को भगवन दीखते थे ओरो को इंसान
कोरस :- दीखते थे ओरो को इंसान
M:- बिटिया तड़प के उठती है चरणों में गिरती है
नैनो से नदिया के धारा झर झर बहती है
कोरस :- धारा झर झर बहती है
M:- दे कर के आशीष लली को किया है कन्यादान
स्वर्ण आभूषण वस्त्र दिए और दिया बहुत सामान
कोरस :- और दिया बहुत सामान
M:- दिव्य अलौकिक अति मनभावन दृश्य दिखाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- लग के गले श्याम सुन्दर के फुट फुट रोये
पांव श्री भगवान के ममता आंसुओं से धोये
कोरस :- ममता आंसुओं से धोये
M:- रख के हाथ लली के सिर पे कहते है भगवान
जीवन भर खुशहाल रहे तू मेरा है वरदान
कोरस :- तू मेरा है वरदान
M:- सबको दीखते सेठ श्याम जी बिटिया को भगवान
सोच रहे थे देखने वाले सेठ जी है धनवान
कोरस :- सेठ जी है धनवान
M:- मामा कह के श्री श्याम को बोली जब ममता
रोम रोम झंकार उठा था बिटिया के मन का
कोरस :- बिटिया के मन का
M:- डोली विदा हुयी जब उसकी वो दिखलाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- ले कर के धन माल खजाना पहुंची जब ससुराल
इतना धन दौलत लायी सब हो गए मालामाल
कोरस :- सब हो गए मालामाल
M:- उस धन से ममता के पति ने शुरू किया व्यपार
कुछ ही दिनों में खड़ा हो गया बहुत बड़ा करोबार
कोरस :- बहुत बड़ा करोबार
M:- श्री श्याम को मामा मान के पूजा करती ममता
पूरा हुआ हर सपना उस बिटिया के जीवन का
कोरस :- उस बिटिया के जीवन का
M:- चाचा चाची दोनों ममता के घर आते है
अपनी गलती पे पछताए नीर बहाते है
कोरस :- पछताए नीर बहाते है
M:- हाथ जोड़ सुखदेव सभी को शीश झुकाता हूँ
पावन कथा सुनाता हूँ
कैसे बढ़ाते है भक्तो का मान बताता हूँ
मै कथा सुनाता हूँ
कोरस :- बोल के जय जय जय श्री श्याम ऊँगली श्याम धनी की थाम
जीवन कर के श्याम के नाम ऊँगली श्याम धनी की थाम
M:- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
कोरस :- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
M:- चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
कोरस :- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
M:- चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
M:- तेरे दर्शन की प्यास जगी तो दर्शन करने आया हूँ
दो आंसू और फूल साथ में अर्जी लेकर आया हूँ
कोरस :- तेरे दर्शन की प्यास जगी तो दर्शन करने आया हूँ
M:- दो आंसू और फूल साथ में अर्जी लेकर आया हूँ
आज तेरे से करने खातिर
आज तेरे से करने खातिर मन में बहुत सवाल है
चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
कोरस :- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
M:- चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
M:- कभी कभी भक्तो के घर भी दर्शन देने आया करो
भक्त की आशा टूट ना जाये हाल पूछने आया करो
कोरस :- कभी कभी भक्तो के घर भी दर्शन देने आया करो
M:- भक्त की आशा टूट ना जाये हाल पूछने आया करो
इतनी परीक्षा ठीक नहीं है
इतनी परीक्षा ठीक नहीं है भक्त तेरे बेहाल है
चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
कोरस :- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
M: - चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
M:- कुछ ना घटेगा तेरा श्याम इक बार आकर देखिये
पलके बिछाए बैठा संजय दर्शन अब तो दीजिये
कोरस :- कुछ ना घटेगा तेरा श्याम इक बार आकर देखिये
M: - पलके बिछाए बैठा संजय दर्शन अब तो दीजिये
तेरे हाथो में ही मोहन
तेरे हाथो में ही मोहन अब तो मेरी लाज है
चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मीसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
कोरस :- श्याम धणी तेरे दर्शन पाकर होते भक्त निहाल है
M:- चारो दिशा में ओ मेरे बाबा तेरी बड़ी मिसाल है तेरी बड़ी मिसाल है
M:- खबर ले लो बनवारी तेरे दरबार आये है जहाँ से हार आये है
कोरस :- खबर ले लो बनवारी तेरे दरबार आये है जहाँ से हार आये है
M:- दयानिधि नाम है तेरा अर्ज तुमसे लगाए है जहाँ से हार आये है
कोरस :- खबर ले लो बनवारी तेरे दरबार आये है जहाँ से हार आये है
कोरस :- श्याम मेरे श्याम आ जाओ मेरे श्याम -२
M:- मनाते हैं रिझाते है तेरी आशा लगाते है
कोरस :- तेरी आशा लगाते है
M:- जहाँ से जो छुपाते है वो हम तुमको बताते है
कोरस :- वो हम तुमको बताते है
M:- समझता ना कोई हम को मिले वही आजमाए है जहाँ से हार आये है
M:- समझ से भी परे जाती दशा संसार की बाबा
कोरस :- दशा संसार की बाबा
M:- सम्भालो ना हमें आ के है हम शरणार्थी बाबा
कोरस :- है हम शरणार्थी बाबा
M:- करी उमीदे जिसे भी उसी से चोट खाये है जहाँ से हार आये है
कोरस :- श्याम मेरे श्याम आ जाओ मेरे श्याम -२
M:- मेहर एक नजर बाबा जो कर दो तो दया होगी
कोरस :- जो कर दो तो दया होगी
M:- मेरे सर हाथ अपना तुम जो धर दो तो कृपा होगी
कोरस :- जो धर दो तो कृपा होगी
M:- तेरा विश्वास गोलू कर के धीरज को बँधाये है जहाँ से हार आये है
कोरस :- आ आ आ आ आ आ आ
तेरे बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे,
हमारा नहीं कोई रे,
सहारा नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
अमुवा की डाली पे
पिंजरा टंगाया,
उड गया सूवा,
पढ़ाया नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
गहरी गहरी नदियाँ,
नाव पुरानी,
डूबण लागी नाव,
बचाया नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
भाई और बंधू,
कुटुम्ब कबीलो,
बिगड़ी जो बात,
बनाया नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
कहत कबीर,
सुनो भाई साधो,
गुरु बिन ज्ञान,
सिखाया नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
तेरे बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे,
हमारा नहीं कोई रे,
सहारा नहीं कोई रे,
तेरें बिना श्याम,
हमारा नहीं कोई रे ॥
॥ दोहा॥
श्री गुरु चरणन ध्यान धर,
सुमीर सच्चिदानंद ।
श्याम चालीसा भजत हूँ,
रच चौपाई छंद ।
॥ चौपाई ॥
श्याम-श्याम भजि बारंबारा ।
सहज ही हो भवसागर पारा ॥
इन सम देव न दूजा कोई ।
दिन दयालु न दाता होई ॥
भीम सुपुत्र अहिलावाती जाया ।
कही भीम का पौत्र कहलाया ॥
यह सब कथा कही कल्पांतर ।
तनिक न मानो इसमें अंतर ॥
बर्बरीक विष्णु अवतारा ।
भक्तन हेतु मनुज तन धारा ॥
बासुदेव देवकी प्यारे ।
जसुमति मैया नंद दुलारे ॥
मधुसूदन गोपाल मुरारी ।
वृजकिशोर गोवर्धन धारी ॥
सियाराम श्री हरि गोबिंदा ।
दिनपाल श्री बाल मुकुंदा ॥
दामोदर रण छोड़ बिहारी ।
नाथ द्वारिकाधीश खरारी ॥
राधाबल्लभ रुक्मणि कंता ।
गोपी बल्लभ कंस हनंता ॥ 10
मनमोहन चित चोर कहाए ।
माखन चोरि-चारि कर खाए ॥
मुरलीधर यदुपति घनश्यामा ।
कृष्ण पतित पावन अभिरामा ॥
मायापति लक्ष्मीपति ईशा ।
पुरुषोत्तम केशव जगदीशा ॥
विश्वपति जय भुवन पसारा ।
दीनबंधु भक्तन रखवारा ॥
प्रभु का भेद न कोई पाया ।
शेष महेश थके मुनिराया ॥
नारद शारद ऋषि योगिंदरर ।
श्याम-श्याम सब रटत निरंतर ॥
कवि कोदी करी कनन गिनंता ।
नाम अपार अथाह अनंता ॥
हर सृष्टी हर सुग में भाई ।
ये अवतार भक्त सुखदाई ॥
ह्रदय माहि करि देखु विचारा ।
श्याम भजे तो हो निस्तारा ॥
कौर पढ़ावत गणिका तारी ।
भीलनी की भक्ति बलिहारी ॥ 20
सती अहिल्या गौतम नारी ।
भई श्रापवश शिला दुलारी ॥
श्याम चरण रज चित लाई ।
पहुंची पति लोक में जाही ॥
अजामिल अरु सदन कसाई ।
नाम प्रताप परम गति पाई ॥
जाके श्याम नाम अधारा ।
सुख लहहि दुःख दूर हो सारा ॥
श्याम सलोवन है अति सुंदर ।
मोर मुकुट सिर तन पीतांबर ॥
गले बैजंती माल सुहाई ।
छवि अनूप भक्तन मान भाई ॥
श्याम-श्याम सुमिरहु दिन-राती ।
श्याम दुपहरि कर परभाती ॥
श्याम सारथी जिस रथ के ।
रोड़े दूर होए उस पथ के ॥
श्याम भक्त न कही पर हारा ।
भीर परि तब श्याम पुकारा ॥
रसना श्याम नाम रस पी ले ।
जी ले श्याम नाम के ही ले ॥ 30
संसारी सुख भोग मिलेगा ।
अंत श्याम सुख योग मिलेगा ॥
श्याम प्रभु हैं तन के काले ।
मन के गोरे भोले-भाले ॥
श्याम संत भक्तन हितकारी ।
रोग-दोष अध नाशे भारी ॥
प्रेम सहित जब नाम पुकारा ।
भक्त लगत श्याम को प्यारा ॥
खाटू में हैं मथुरावासी ।
पारब्रह्म पूर्ण अविनाशी ॥
सुधा तान भरि मुरली बजाई ।
चहु दिशि जहां सुनी पाई ॥
वृद्ध-बाल जेते नारि नर ।
मुग्ध भये सुनि बंशी स्वर ॥
हड़बड़ कर सब पहुंचे जाई ।
खाटू में जहां श्याम कन्हाई ॥
जिसने श्याम स्वरूप निहारा ।
भव भय से पाया छुटकारा ॥
॥ दोहा ॥
श्याम सलोने संवारे,
बर्बरीक तनुधार ।
इच्छा पूर्ण भक्त की,
करो न लाओ बार
॥ इति श्री खाटू श्याम चालीसा ॥
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा।
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा।
सांवरिया के नैना कैसे,
सूरज की किरणे हो जैसे,
छलके मस्ती के होंठो से जाम,
मैं बोलूं बाबा चाँद जैसा,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा,
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूं बाबा चाँद जैसा
दिल से ये आवाज़ है आई,
तुमसे नहीं कोई और कन्हाई,
घायल कर दे प्यारी सी मुस्कान,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा,
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूं बाबा चाँद जैसा
लट घुंघराली कारी कारी,
भोली सूरत प्यारी प्यारी
मैं इनका ये मेरी जान,
बोलूं बाबा चाँद जैसा
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा,
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूं बाबा चाँद जैसा
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा।
कोई पूछे कैसा है तेरा श्याम,
मैं बोलूँ बाबा चाँद जैसा।